प्रमोद मिश्रा
रायपुर, 9 जून 2024|
छत्तीसगढ़ की बिलासपुर लोकसभा सीट से सांसद तोखन साहू को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कैबिनेट में शामिल किया गया है। शपथ ग्रहण समारोह से पहले साहू को पीएमओ से फोन आया और फिर वे प्रधानमंत्री आवास के लिए रवाना हो गए। तोखन साहू एक साधारण किसान परिवार से हैं। 2013 में वे पहली बार लोरमी विधानसभा सीट से विधायक चुने गए थे। रमन सिंह की सरकार के दौरान उन्हें संसदीय सचिव नियुक्त किया गया था। 2024 के लोकसभा चुनाव में तोखन साहू ने कांग्रेस उम्मीदवार देवेंद्र यादव को 164,000 से अधिक मतों के अंतर से हराकर महत्वपूर्ण जीत हासिल की। भाजपा ने लोरमी के पूर्व विधायक को बिलासपुर लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया, जिससे उनकी ऐतिहासिक जीत हुई। साहू का राजनीतिक सफर 1994 में लोरमी के छोटे से गांव सूरजपुरा में पंच के तौर पर शुरू हुआ था। एक लोकप्रिय जनप्रतिनिधि के तौर पर जाने जाने वाले साहू ने अपने राजनीतिक करियर में महत्वपूर्ण प्रगति की है।
राजनीतिक जीवन की उपलब्धियां:
1994: लोरमी ब्लॉक के सूरजपुरा गांव के निर्विरोध पंच के रूप में राजनीतिक जीवन की शुरुआत की।
2005: ब्लॉक लोरमी क्षेत्र क्रमांक 18, फुलवारीकला से जनपद सदस्य बने।
2010: महिला आरक्षण के कारण उनकी पत्नी लीलावती साहू जनपद सदस्य बनीं और बाद में लोरमी जनपद पंचायत की अध्यक्ष बनीं।
2012: जिला सहकारी बैंक बिलासपुर के प्रतिनिधि, जिला साहू समाज के संरक्षक और भाजपा पश्चिम मंडल के महामंत्री बने।
2013: भाजपा के टिकट पर लोरमी विधानसभा से विधायक चुने गए, उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी और मौजूदा विधायक धर्मजीत सिंह को हराया।
2014: छत्तीसगढ़ वन्य जीव बोर्ड के सदस्य नियुक्त हुए।
2015: कृषि, मत्स्य, पशुपालन और जल संसाधन विभागों के संसदीय सचिव बने।
2015: खैरागढ़ संगीत विश्वविद्यालय के सदस्य नियुक्त हुए।
2018: लोरमी विधानसभा से फिर चुनाव लड़ा, लेकिन धर्मजीत सिंह से हार गए। इसके बाद उन्हें राज्य पिछड़ा वर्ग मोर्चा की प्रदेश कार्यसमिति और बाद में राज्य किसान मोर्चा का सदस्य बनाया गया। 2023: विधानसभा चुनाव के दौरान बेमेतरा जिले के नवागढ़ विधानसभा के प्रभारी के रूप में कार्य किया। वर्तमान में वे राज्य भाजपा किसान मोर्चा के अध्यक्ष हैं। व्यक्तिगत विवरण: जन्म: 15 अक्टूबर 1969, मुंगेली जिला शिक्षा: एम.कॉम परिवार: लीलावती साहू से विवाहित, एक बेटा और एक बेटी है। तोखन साहू का मंत्रिमंडल में शामिल होना उनके राजनीतिक जीवन में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है, जो उनके निर्वाचन क्षेत्र और राज्य के प्रति समर्पण और सेवा को दर्शाता है।