अजय कैवर्त्य
जांजगीर–चांपा
आदिवासी विकास विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के तहत अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग सहित अल्पसंख्यक वर्ग के लोगों के उत्थान के लिए अनेक योजनाएं संचालित है। कलेक्टर जनक प्रसाद पाठक के मार्गदर्शन में जांजगीर-चांपा जिले में इन योजनाओं का सकारात्मक क्रियान्वयन किया जा रहा है।राज्य सरकार द्वारा आश्रम, छात्रावास, छात्रवृत्ति, स्वास्थ्य परीक्षण, अत्याचार निवारण योजना, अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन योजना, प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना एवं वन अधिकार मान्यता पत्र के तहत संबंधित वर्ग के लोगों को व्यक्तिगत अथवा सामूदायिक रूप से लाभान्वित किया जा रहा है।
सहायक आयुक्त आदिवासी विकास से प्राप्त जानकारी के अनुसार
आश्रम/छात्रावास – आदिवासी विकास विभाग द्वारा जिले में कुल 92 छात्रावास तथा 18 आश्रम संचालित है जिसमें 4700 छात्र-छात्राएं के लिए आवास व भोजन सहित अन्य सुविधाएं उपलब्ध हैै। इसके अलावा 100 सीटर चिस्दा में कन्या क्रीड़ा परिसर भी संचालित किया गया है। जिसमें दूरदराज क्षेत्रों में रहने वाले अनुसूचित जाति की कन्याओं को शिक्षा के साथ खेल प्रतिभाओं के विकास हेतु निशुल्क आवास, पानी, बिजली, भोजन आदि की सुविधा उपलब्ध कराई गयी है। पोस्ट मेट्रिक छात्रावासों में निवासरत विद्यार्थियों के लिए भोजन सहाय योजना के तहत विशेष पोषण आहार के लिए 700 प्रति छात्र प्रतिमाह स्वीकृत की जा रही है।
एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय में 171 जनजाति विद्यार्थी लाभान्वित-
विकासखंड सक्ती के ग्राम पलाड़ीखुर्द में अनुसूचित जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों के शैक्षिक, शारीरिक, मनोवैज्ञानिक एवं खेलकूद के विकास हेतु 420 सीटर संयुक्त एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय प्रारंभ किया गया है। जिसमें छठवीं से लेकर आठवीं तक बालक-बालिकाओं को प्रवेश दिया जाता है। इसमें 85 बालक और 86 बालिकाओं का सीट स्वीकृत है। इसके भवन निर्माण के लिए 1601 लाख रूपए की स्वीकृति दी गई है। भवन का निर्माण कार्य पूर्णता की ओर है।
छात्रवृत्ति-शिष्यवृत्ति योजना –
वर्ष 1920 में अनुसूचित जाति वर्ग के 9722 विद्यार्थियों, अनुसूचित जनजाति वर्ग के 2528 और अन्य पिछड़ा वर्ग के 16 हजार 279 विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति प्रदान की गई है। आश्रम छात्रावास में रहने वाले छात्रावास के बच्चों को शिष्यवृत्ति का भी भुगतान किया चुका है। अल्पसंख्यक छात्रवृत्ति योजना के तहत प्री मैट्रिक छात्रवृत्ति में 194 तथा पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति में 120 छात्र-छात्राओं तथा मेरीट कम मींस के 5 छात्र छात्राओं को लाभान्वित किया गया है।
स्वस्थ तन – स्वस्थ मन योजना –
इस योजना के तहत छात्रावास, आश्रमों में निवास करने वाले छात्र छात्राओं का नियमित स्वास्थ्य परीक्षण किया जाता है। वर्ष 2019-20 में 950 छात्र-छात्राओं का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। इसके लिए मानदेय के आधार पर चिकित्सकों को नियुक्त किया जाता है।
अनुसूचित जाति तथा जनजाति
अत्याचार निवारण योजना –
अनुसूचित जाति तथा जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम राहत योजना के तहत गैर अनुसूचित जाति, जनजाति के व्यक्ति द्वारा उत्पीड़न कारण शारीरिक एवं संपत्ति दोनों प्रकार की हानि उठाने वाले अनुसूचितजाति व जनजाति वर्ग के व्यक्ति को थानों में दर्ज प्रकरण के आधार पर सहायता राशि दी जाती है। इस योजना के तहत एक अप्रैल 2019 से 31 मार्च 2020 तक कुल 88 लोगों को 72.25 लाख रूपए का का भुगतान किया गया है।
अंतरजातीय विवाह प्रोत्साहन योजना – इस योजना के तहत अस्पृश्यता उन्मूलन की दिशा में गैर अनुसूचित जाति के युवक-युवती द्वारा अनुसूचित जाति वर्ग की युवक-युवती से विवाह करने वाले को प्रोत्साहन राशि दी जाती है। इस योजना के तहत वर्ष 2019 में 128 दंपतियों को 314 लाख रूपए की प्रोत्साहन राशि दी गई है।
प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना – प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना अंतर्गत अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों को सर्वसुविधायुक्त आदर्श ग्रामों के रूप में विकसित किया जाना है। जिले के 50 प्रतिशत से अधिक अनुसूचित जाति बाहुल्य कुल 129 गांवों में से प्रथम चरण में विकासखंड नवागढ़ के 07 और पामगढ़ के 23 कुल 30 ग्रामों का चयन किया गया है। इन ग्रामों में योजना अंतर्गत 1348 लाख रूपए तथा अन्य विभागों के 1546.69 लाख रूपए के कुल 373 कार्य स्वीकृत किए गए हैं। जिसमें आवास, नल जल योजना, सामुदायिक भवन, शौचालय, नाली, स्ट्रीट लाइट, हैंडपंप, सोलर पंप, स्वास्थ्य केंद्र, प्राथमिक शाला भवन, स्मार्ट क्लास, आंगनवाड़ी, सीसी रोड उचित मूल्य की दुकान आदि के कार्य स्वीकृत किए गए हैं। इसके लिए संबधित क्रियान्वयन एजेंसी बनाया गया है। वर्ष 2019-20 में 20 नवीन ग्रामों का चयन किया गया है। जिसमें सर्वे का कार्य पूर्ण हो गया है।
वन अधिकार पत्र – जिले के कुल 1037 हितग्राहियों को व्यक्तिगत तथा 105 सामुदायिक कुल 1142 वन अधिकार पत्र प्रदान किया गया है। इस हेतु कुल 631.877 हेक्टेयर व्यक्तिगत तथा 13411.326 हेक्टेयर सामुदायिक भूमि का वितरण किया जा चुका है।