प्रमोद मिश्रा
रायपुर, 23 फरवरी 2022
छत्तीसगढ़ के नवा रायपुर में 50 दिनों से अधिक जारी किसान आंदोलन अभी भी जारी रहेगा । छत्तीसगढ़ के किसान नेताओं ने कल देश की राजधानी नई दिल्ली में किसान नेता राकेश टिकैत से मुलाकात की और उन्हें छत्तीसगढ़ आने का निमंत्रण दिया है । किसान नेता रुपन चंद्राकर ने बताया कि कल राकेश टिकैत और योगेंद्र यादव से नई दिल्ली में मुलाकात हुई हैं और उन्हें किसान आंदोलन के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई है । किसान नेता रुपन चंद्राकर ने बताया कि राकेश टिकैत ने मामले को गंभीरता से सुना और आंदोलन की पल-पल की जानकारी देने को भी कहा है साथ ही राकेश टिकैत ने जल्द ही छत्तीसगढ़ आने की बात कही है । ऐसे में अब माना जा सकता है कि आंदोलन अभी और लंबा चलेगा ।
सरकार लगातार कर रही प्रयास, मगर नहीं बन रही बात
इस मामले में सरकार की तरफ से गठित मंत्रिमंडलीय समिति और आंदोलनकारी किसानों के प्रतिनिधिमंडल के बीच रविवार को समिति के अध्यक्ष व कृषि मंत्री रविंद्र चौबे के निवास कार्यालय में तीसरे दौर की वार्ता हुई। इससे पहले हुई दो बैठकों में भी कुछ मांगों पर सहमति बनी थी, लिखित में आदेश जारी नहीं होने के कारण किसान आंदोलन जारी रखे हुए हैं। इस बार भी किसान लिखित आदेश का इंतजार कर रहे हैं।
इन मांगों पर नहीं हो पाया निर्णय
सरकार आठ में से जिन दो मांगों पर सहमति नहीं पाई है उसमें नवा रायपुर को नगरीय क्षेत्र घोषित करने के लिए जारी अधिसूचना निरस्त करने और प्रभावित किसानों को मिलने वाली वार्षिक राशि फिर से देने की मांग शामिल है।
इन छह मांगों पर सहमति का दावा
कृषि मंत्री चौबे के अनुसार नई राजधानी परियोजना क्षेत्र में जहां ग्रामीण बसाहट है, वहां आवासीय पट्टा दिए जाने, आडिट कंडिकाओं के निदान, प्राधिकरण की निविदा सेवाओं में 60 प्रतिशत कर्मचारी प्रभावित गांवों के लिए जाने की सहमति बनी है। इसी तरह पहले हुई बैठक में लिए गए निर्णय के अनुसार विस्थापितों और भूमिहीनों को पट्टा दिए जाने, नई राजधानी में रोजगार और व्यवसाय के लिए निर्मित परिसंपत्ति जिसमें सात दुकान, चार हाल, 12 गुमटी और 71 चबूतरा शामिल है, उनका आवंटन प्रभावित क्षेत्र के लोगों को लागत मूल्य पर लाटरी के माध्यम से करने और 27 गांवों में जमीन की खरीदी-बिक्री के लिए अनापत्ति लेने से मुक्त किए जाने की सहमति बनी है।
कानूनी राय के अनुसार लेंगे निर्णय
रविवार की बैठक के बाद रविन्द्र चौबे ने कहा कि –
किसानों की आठ में से छह मांगों पर सहमति बनी है। प्रशासनिक प्रक्रिया पूरी करने के साथ ही आदेश जारी किए जा रहे हैं। बाकी दो मांगों पर कानूनी राय के अनुसार निर्णय लिया जाएगा। हम किसान कल्याण समिति के पदाधिकारियों से अपील करते हैं कि अब वे अपना आंदोलन समाप्त कर दें। – रविंद्र चौबे, कृषि मंत्री व मंत्रिमंडलीय समिति के अध्यक्ष
नहीं खत्म करेंगे आंदोलन
जिन मांगों पर सहमति की बात सरकार कह रही है उन मांगों को तो पूर्ववर्ती भाजपा सरकार ने भी मान लिया था, लेकिन आज तक उस पर अमल नहीं हुआ है। अब भी हम उन्हीं मांगों को लेकर संघर्ष कर रहे हैं। इसलिए जब तक वादों पर अमल शुरू नहीं होगा तब तक आंदोलन खत्म नहीं करेंगे। – रुपन चंद्राकर, अध्यक्ष – नई राजधानी प्रभावित किसान कल्याण समिति( रविवार की बैठक के बाद)