प्रमोद मिश्रा
नवा रायपुर, 28 जून 2022
25 जून, 2022 को, कलिंगा विश्वविद्यालय, नया रायपुर, छत्तीसगढ़, द्वारा ट्राइबल क्वीन ग्लोबल प्रतियोगिता 2022 के लिए अंतर्राष्ट्रीय आदिवासी छात्रों की चयन प्रक्रिया रखी गयी थी, जो 9 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस के दिन संध्या को नई दिल्ली में आयोजित होने जा रही है।
कलिंगा विश्वविद्यालय हमेशा ऐसे विविध और कल्याणकारी कार्यक्रमों को प्रोत्साहित करता है। आदि ट्राइबल फाउंडेशन के संस्थापक और प्रबंध न्यासी डॉ. चिदत्तमिका खटुआ को इस चयन कार्यक्रम के संचालन के लिए सम्मानित अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया था। पद्मश्री अनुज शर्मा, एक प्रमुख फिल्म अभिनेता, गायक, निर्माता और निर्देशक, डॉ. शमा हमदानी, एक अनुभवी नैदानिक मनोवैज्ञानिक, जिनका उद्देश्य समाज में निरंतर प्रभाव पैदा करना है, निशा अग्रवाल, रोटरी क्वीन क्लब, रायपुर की अध्यक्ष, दिलीप मोहंती, अध्यक्ष (एचआरएम) जायसवाल नेको इंडस्ट्रीज रायपुर, डॉ संयुक्ता गांधी, एक आवेशपूर्ण गणित शिक्षक, लेखक, और सामाजिक कार्य के लिए एक उत्साह के साथ प्रशिक्षित REIKI व्यवसायी है, नितेश झा (NIRRA educom), अभिषेक चौधरी (NIRRA educom), अंकित शुक्ला, एक लेखक और संपादक और रंजय सिंह, एक दूरदर्शी उद्यमी, अन्य सम्माननीय अतिथि थे जिन्होंने अंतिम कार्यक्रम के लिए छात्रों का मूल्यांकन और शॉर्टलिस्ट किया। यह कार्यक्रम 9 अगस्त को होने वाले मुख्य कार्यक्रम के लिए अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय आदिवासी महिलाओं (कलिंगा विश्वविद्यालय के छात्रों सहित) की स्क्रीनिंग के लिए आयोजित किया गया था, जो “आजादी का अमृत महोत्सव” के तहत आदिवासी महिला सशक्तिकरण के वैश्विक मिशन पर केंद्रित है।
दुनिया भर में विभिन्न आदिवासी समुदाय अपनी संस्कृति, परंपरा, ईमानदारी और सादगी में अद्वितीय हैं। डॉ. चिदत्तमिका द्वारा शुरू की गई पहल आदिवासी समुदायों के महिला केंद्रित परिवर्तन पर आधार है और उनका समग्र कल्याण पैदा करने की दिशा में प्रेरित है। इस आयोजन से पहले, “ADI RANI” भारत की पहली ट्राइबल क्वीन प्रतियोगिता 2018 में आयोजित की गई थी, जो “कलिंगा गौरव अवार्ड्स” द्वारा शुरू की गई एक अखिल भारतीय प्रतियोगिता थी। “ADI RANI” पहल का उद्देश्य युवा आदिवासी महिलाओं को उनकी मौलिकता के आधार पर अपने दम पर खड़े होने के लिए सशक्त बनाना है। वर्ष 2021 में आदि ट्राइबल फाउंडेशन द्वारा आयोजित ग्लोबल ट्राइबल कॉन्क्लेव के लिए कई आदिवासी देश वर्चुअली कनेक्ट हुए। चयनित प्रतियोगियों को सॉफ्ट स्किल्स और इमोशन कंट्रोल स्किल्स पर तैयार किया जाएगा। ट्राइबल क्वीन ग्लोबल प्रतियोगिता का उद्देश्य हमें ट्राइबल क्वीन इंडिया, एशिया, अर्थ, वर्ल्ड और ग्लोबल प्रदान करना होगा।
हमारे विश्वविद्यालय से प्रतियोगियों के चयन के मानदंड आधारित किया गया थाः-
- छात्र आदिवासी समुदाय से संबंधित,
- 16 वर्ष और उससे अधिक आयु,
- अपनी संस्कृति और परंपरा का प्रतिनिधित्व करने में सक्षम हो,
- महिलाएं (विवाहित / अविवाहित), और
- सौंदर्य और प्रशिक्षण कार्यक्रमों में भागीदारी लिया हो।
फिनाले से पहले चयनित उम्मीदवारों को नई दिल्ली में निशुल्क यात्रा, भोजन, आवास और ग्रूमिंग प्रदान किया जाएगा।
अतिथियों का तिलक लगाकर स्वागत किया गया और कार्यक्रम का आयोजन विश्वविद्यालय के ऑडिटोरियम में किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्ज्वलित कर की गई।
तत्पश्चात डॉ. आर. श्रीधर- कुलपति, कलिंगा विश्वविद्यालय ने स्वागत भाषण दिया। परिचय के बाद, डॉ. चिदत्तमिका खटुआ और उनकी टीम ने इस ग्लोबल प्रतियोगिता का उद्देश्य और आदि ट्राइबल फाउंडेशन (एटीएफ) के विभिन्न कार्यों को सबके सामने रखा और विभिन्न उपरोक्त मानदंडों पर छात्रों की स्क्रीनिंग किया गया।
कलिंगा विश्वविद्यालय के कई अंतरराष्ट्रीय छात्रों ने इस कार्यक्रम में भाग लिया और सभी ने अपनी संस्कृति का प्रतिनिधित्व करने के लिए पारंपरिक परिधानों में अलंकृत थे।
सभी सम्मानित अतिथियों को डॉ. आर. श्रीधर -कुलपति, डॉ. बायजू जॉन -महानिर्देशक, और डॉ. संदीप गांधी– कुलसचिव कलिंगा विश्वविद्यालय के द्वारा स्मृति चिन्ह भेंट किए गए। अंत में धन्यवाद प्रस्ताव के साथ सत्र का समापन हुआ।
समारोह की प्रबंधक डॉ. सोहिनी भट्टाचार्य थीं। परविंदर शेष और अर्पण दुबे समग्र कार्यक्रम का समन्वय किया गया। मेघा मेहरा और जितेश महंत द्वारा प्रोटोकॉल का समन्वय किया गया। यूनिस और नंदिनी जावड़ा द्वारा फोटोग्राफी और क्रिएटिव कंटेंट समन्वय किया गया। भोजन एवं अन्य आवश्यक व्यवस्थाओं की जिम्मेदारी मनीष सिंह एवं उनकी टीम द्वारा किया गया।