प्रमोद मिश्रा
रायपुर, 21 मार्च 2023
छत्तीसगढ़ में विधानसभा के बजट सत्र के दौरान 11 दिन पूर्व विधायकों के पेंशन में बढ़ोतरी संबंधी विधेयक पेश किया गया । इस विधेयक में कहा गया है कि पूर्व विधायकों को पेंशन के तौर पर 35 हजार रुपए की जगह, अब 58,300 दिया जाएगा ।
माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में यह विधायक सर्वसम्मति से पास हो जायेगा । ऐसे में पूर्व विधायकों के पेंशन में बड़ी बढ़ोतरी की गई है । आपको बताते चलें कि पिछले साल मुख्यमंत्री, विधानसभा अध्यक्ष, मंत्रियों और विधायकों के वेतन में वृद्धि के लिए विधेयक पारित किया था, जिससे राज्य के खजाने पर 6.81 करोड़ रुपये का वार्षिक बोझ पड़ा था। उसके बाद अब फिर से सरकार के खजाने पर 16.96 करोड़ रुपये का अतिरिक्त वार्षिक बोझ बढ़ जायेगा।
हर पांच साल में बढ़ती है पेंशन
यदि हम पूर्व विधायकों की पेंशन की बात करे तो हर पांच साल में बढ़ती है। पूर्व विधायकों को पहले पांच साल 35 हजार रुपए प्रतिमाह पेंशन दी जाती है।
विधेयक के अनुसार पूर्व विधायक सदस्यता के अपने पहले कार्यकाल (पांच साल से अधिक कार्यकाल) के बाद हर एक वर्ष के लिए प्रति माह एक हजार रुपए की अतिरिक्त पेंशन पाने का भी हकदार होगा। विधेयक में कहा गया है कि प्रत्येक मौजूदा सदस्य रेलवे / हवाई यात्रा के लिए मौजूदा आठ लाख रुपये प्रति वर्ष के बजाय 10 लाख रुपये प्रति वर्ष का भत्ता पाने का हकदार होगा। वहीं पूर्व विधायकों के लिए यह भत्ता चार लाख रुपये प्रति वर्ष से बढ़ाकर पांच लाख रुपये प्रति वर्ष किया जाएगा। इसके अलावा पूर्व विधायक क्रमश: 10 हजार रुपये और 15 हजार रुपये का टेलीफोन भत्ता और अर्दली भत्ता पाने के हकदार होंगे। अधिकारियों ने बताया पहले पूर्व सदस्यों के लिए टेलीफोन और अर्दली भत्ते का कोई प्रावधान नहीं था ।
विधायकों को यह मिलता है –
विधायकों का वेतन – 20000
निर्वाचन क्षेत्र भत्ता – 55000
टेलीफोन भत्ता – 10000
अर्दली भत्ता – 15000
दैनिक भत्ता – 2000
विधानसभा में बैठक का भत्ता – 1000
(विधायकों को अब तक यह सुविधा मिलती थी)