ओडिशा के पुरी में भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा मंगलवार दोपहर में शुरू होगी। इसके पहले सुबह मंगला आरती हुई, खिचड़ी का भोग लगाया गया। फिर रथों की पूजा हुई। रथ यात्रा में बलभद्र, बहन सुभद्रा और जगन्नाथ भगवान को रथ में बैठाया जाता है। भक्त रथ को बारी-बारी से खींचते हैं।
सबसे पहले बलभद्र को मंदिर से बाहर लाया गया और रथ में बैठाया गया। अब सुभद्रा को मंदिर से बाहर लाने की तैयारी चल रही। इसके बाद भगवान जगन्नाथ को मंदिर से बाहर रथ में बैठाया जाएगा। इस पूरे विधान में दोपहर तक का समय लगेगा।
यह रथ यात्रा मंदिर से तकरीबन ढाई से तीन किमी दूर गुंडिचा मंदिर तक जाती है। जो कि उनकी मौसी का घर माना जाता है। इस रथ यात्रा में तकरीबन 25 लाख लोगों के आने की संभावना है। इसे गुंडिचा यात्रा भी कहते हैं।
CM ने दी बधाई
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेशवासियों को रथयात्रा की बधाई और शुभकामनाएं दी है। उन्होंने इस अवसर पर भगवान जगन्नाथ से सभी नागरिकों की सुख, समृद्धि और खुशहाली की प्रार्थना की है। सीएम बघेल ने रथयात्रा की पूर्वसंध्या पर जारी अपने बधाई संदेश में कहा है कि भारत में महाप्रभु जगन्नाथ के धाम पुरी सहित सभी स्थानों में रथयात्रा निकाली जाती हैं। यह भारत की मजबूत सांस्कृतिक एकता और सौहार्द्र का प्रतीक है। मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्राचीन काल से ही छत्तीसगढ़वासियों की भगवान जगन्नाथ में गहरी आस्था रही है। उत्कल समाज के साथ सभी छत्तीसगढ़वासी प्रतिवर्ष भक्ति भाव और श्रद्धा के साथ भगवान जगन्नाथ, उनके भाई बलभद्र और बहन देवी सुभद्रा की रथयात्रा निकालते हैं।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल आज प्रभु जगन्नाथ जी की यात्रा में भी शामिल होंगे । तय कार्यक्रम के अनुसार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल गायत्री नगर के जगन्नाथ मंदिर की रथयात्रा में शामिल होंगे ।