रेत माफियाओं का आतंक, नदियों का सीना छलनी, प्रशासन बेबस! : कटगी जोंक नदी में रेत तस्करों का जमावड़ा, प्रशासनिक उदासीनता के चलते रेत तस्करों की मौज, BJP सरकार में कांग्रेस नेताओं की बल्ले-बल्ले

Bureaucracy CRIME Exclusive Latest छत्तीसगढ़ बड़ी ख़बर बलौदाबाजार

प्रमोद मिश्रा

कटगी, 02 जनवरी 2024

छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार जिले में रेत तस्करों की मौज ही मौज हो गई है । जिले के कसडोल थानांतर्गत आने वाले कटगी और रामपुर में रेत तस्कर सुबह से लेकर रात तक रेत की अवैध उत्खनन और तस्करी कर रहे हैं । रेत माफियाओं के बुलंद हौसले को देखकर लगता है कि प्रशासन का कोई डर इन तस्करों को नहीं है ।

 

 

ग्रामीणों का कहना है कि नदी का सीना छलनी होते वे अपनी आंखों से देख रहे हैं, लेकिन जनप्रतिनिधियों और प्रशासन की कुंभकर्णी नींद में सोने के कारण वो कुछ नहीं कर पा रहे हैं । ग्रामीणों का कहना है कि लगता है सब मिलजुल कर इस रेत के अवैध उत्खनन और तस्करी को बढ़ावा दे रहे हैं ।

प्रशासनिक और जनप्रतिनिधियों की उदासीनता से सब हैरान

ऐसा नहीं है कि ये रेत उत्खनन का कार्य रात के अंधेरे में हो रहा है । रेत उत्खनन का काम दिन के उजाले से लेकर रात के अंधेरे में हो रहा है लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के चलते और जनप्रतिनिधियों की कुंभकर्णीय नींद में सोने के चलते कोई कार्यवाही नहीं हो रही है । सूत्र बताते हैं कि इन तस्करों के पीछे विपक्षी पार्टी के नेताओं का हाथ है, जिससे उनके हौसले बुलंद हैं । क्षेत्र के लोगों में यह चर्चा आम हो गई है कि बीजेपी की सरकार में कांग्रेस नेताओं की बल्ले – बल्ले हैं । ऐसे में एक बात तो साफ है कि इन तस्करों पर प्रशासन द्वारा कोई कार्रवाई नहीं करना साफ इशारा कर रहा है कि “अंधेर नगरी चौपट राजा” जैसी स्थिति जिले में चल रही है ।

पढ़ें   ब्रेकिंग:-राजपुर में मक्का खरीदी की शुरुआत,संसदीय सचिव ने किया शुभारम्भ

डेराडीह में डंपिंग का अंबार

ग्राम पंचायत डेराडीह में रेत का अंबार आपको देखने को मिलेगा । जानकारी के मुताबिक सीसी रोड निर्माण के लिए रेत डंप का बहना कर रेत को बेचा जा रहा है । रेत तस्कर सीसी रोड निर्माण का बहाना कर रेत डंप कर उसे बेच रहे हैं ।

“अवैध उत्खनन और तस्करी से नदियों का अस्तित्व खतरे में, पर्यावरण को भारी नुकसान।”

रेत के अवैध उत्खनन और तस्करी की समस्या ने प्रदेश के कई हिस्सों में विकराल रूप ले लिया है। नदियों के किनारे दिन-रात जारी खनन से न केवल प्राकृतिक संसाधनों का दोहन हो रहा है, बल्कि पर्यावरणीय संतुलन भी गड़बड़ा रहा है।

विशेषकर कटगी जैसे इलाकों में रेत माफियाओं का आतंक बढ़ता जा रहा है। ट्रैक्टरों के जरिए रेत का अवैध खनन किया जा रहा है, जिससे नदियों का जलस्तर घट रहा है और बाढ़ जैसे प्राकृतिक आपदाओं का खतरा भी बढ़ रहा है।

स्थानीय लोगों की शिकायतें अनसुनी

क्षेत्र के ग्रामीणों का कहना है कि उन्होंने कई बार प्रशासन को शिकायत दी, लेकिन प्रभावशाली माफियाओं के डर के कारण उनकी आवाज दबा दी जाती है।

ग्रामीण का बयान

“हमने प्रशासन से कई बार अपील की, लेकिन हर बार हमारी बात को नजरअंदाज कर दिया गया। माफिया के लोग खुलेआम मशीनों से रेत निकालते हैं ।”

पर्यावरणीय प्रभाव

रेत खनन से नदियों के पारिस्थितिकी तंत्र को गंभीर नुकसान हो रहा है। विशेषज्ञों का कहना है कि अवैध उत्खनन से नदी का जलस्तर कम हो रहा है, जिससे स्थानीय वनस्पति और जीव-जंतु विलुप्त होने के कगार पर हैं।

पढ़ें   CM भूपेश बघेल ने की कांग्रेस के नवनिर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष से मुलाकात, मल्लिकार्जुन खरगे को अध्यक्ष बनने पर दी बधाई

विशेषज्ञ क्या कहते हैं?

“रेत खनन के कारण नदियों का बहाव प्रभावित हो रहा है। इससे न केवल जल संकट पैदा होगा, बल्कि बाढ़ जैसी आपदाओं का खतरा भी बढ़ेगा।”

अधिकारी क्या कह रहे हैं?

जिले के खनिज विभाग के अधिकारी कुंदन कुमार बंजारे को वॉट्सएप के माध्यम से जानकारी दी गई । उन्होंने जानकारी देने के लिए धन्यवाद कहा और कहा कि हमारे द्वारा लगातार कार्रवाई की जा रहीं है, जहां भी शिकायत मिलती है कार्यवाही करते हैं ।

 

रेत के इस अवैध व्यापार को रोकना आज के समय की बड़ी जरूरत है। यह केवल प्राकृतिक संसाधनों का मसला नहीं है, बल्कि हमारी आने वाली पीढ़ियों के लिए भी खतरा है। प्रशासन और समाज को साथ मिलकर इसे रोकने की दिशा में कदम उठाने होंगे।

 

Share

 

 

 

 

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *